जीएनएम का फुल फॉर्म (gnm full form in hindi) जनरल नर्सिंग एंड मिडवाइफरी है। जो उम्मीदवार क्लीनिकल नर्सिंग के क्षेत्र में अपना करियर बनाना चाहते हैं, उनके लिए जीएनएम सबसे पसंदीदा कोर्स विकल्प है। जीएनएम फुल फॉर्म (GNM full form in hindi) क्या है?- जीएनएम का अर्थ जनरल नर्सिंग एंड मिडवाइफरी (General Nursing and Midwifery) से है, यह कोर्स गर्भवती महिलाओं तथा मरीजों की देखभाल करना सीखने तथा विशेषज्ञता प्राप्त करने में सहायता करता हैं।
जीएनएम फुल फॉर्म (GNM Full Form in Hindi) जान लेने के बाद यह भी जान लें कि यह 3 साल और 6 माह की अवधि वाला एक डिप्लोमा कोर्स है, जिसमें 6 महीने की इंटर्नशिप करनी अनिवार्य होती है। विज्ञान विषयों (भौतिकी, जीव विज्ञान तथा रसायन विज्ञान) के साथ किसी मान्यता प्राप्त बोर्ड से 10+2 पास उम्मीदवार जीएनएम नर्सिंग पाठ्यक्रम (gnm course details in hindi) के लिए आवेदन कर सकते हैं। सामान्य नर्सिंग के साथ ही दाई की भूमिकाओं का भी निर्वहन करने में कुशल होते हैं।
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जीएनएम नर्सिंग प्रवेश प्रक्रिया (GNM nursing admission process) संस्थान विशेष के लिए अलग हो सकती है। हालांकि, जीएनएम पाठ्यक्रम (GNM Syllabus in hindi) का उद्देश्य ज्यादातर उम्मीदवारों को रोगी की जरूरतों को पूरा करने के लिए तैयार करना और बीमार व्यक्तियों की देखभाल करते समय सुचारू पद्धति की जानकारी देना है।
नवीनतम आँकडों के अनुसार जीएनएम फुल फॉर्म (gnm full form) वाले कोर्स की पेशकश 317 सरकारी संस्थानों द्वारा 14850 सीटों के लिए की जाती। इसके साथ ही 2838 प्राइवेट संस्थानों में जीएनएम कोर्स (GNM Course) की 113771 सीटें उपलब्ध हैं। जीएनएम पाठ्यक्रम विवरण, पात्रता, प्रवेश प्रक्रिया, शीर्ष प्रवेश परीक्षा, प्रवेश के साथ जीएनएम के पूर्ण रूप पर विवरण की जांच करने के लिए उम्मीदवार लेख को पूरा पढ़ सकते हैं।
शीर्षक | Details |
जीएनएम का फुल फार्म (GNM full form) | जनरल नर्सिंग ऐंड मिडवाइफरी (General Nursing and Midwifery) |
जीएनएम कोर्स अवधि (GNM course duration) | 3 साल और 6 माह (इंटर्नशिप) |
जीएनएम नर्सिंग प्रवेश मानक (Basis of GNM nursing admission) | प्रवेश परीक्षा या सीधे प्रवेश (संस्थान विशेष पर निर्भर) |
जीएनएम वांछित योग्यता | कक्षा 12 |
भारत में जीएनएम नर्सिंग सीटें (GNM nursing seats in India) | 14850 सीटें (शासकीय) 113771 सीटें (निजी) |
जीएनएम का फुल फॉर्म (जीएनएम का पूरा नाम) जनरल नर्सिंग एंड मिडवाइफरी है। उम्मीदवार अपनी 12वीं की पढ़ाई उत्तीर्ण करने के बाद जीएनएम कोर्स का विकल्प चुन सकते हैं। जीएनएम कोर्स 3 साल की अवधि का है, 6 महीने की इंटर्नशिप करनी भी अनिवार्य है। चिकित्सा संस्थानों और अस्पतालों को योग्य देखभाल करने वालों की आवश्यकता होती है, तथा जीएनएम नर्सिंग पाठ्यक्रम उन्हें कुशल बनाने का काम करता है।
इन्हें भी देखें-
जीएनएम (GNM) पाठ्यक्रम के लिए मूल पात्रता मानदंड इस प्रकार हैं।
उम्मीदवार ने किसी भी मान्यता प्राप्त बोर्ड से अंग्रेजी के साथ 10 + 2 और अंग्रेजी में न्यूनतम 40% अंक प्राप्त किए हों।
भारतीय नर्सिंग परिषद द्वारा मान्यता प्राप्त स्कूल से अंग्रेजी के साथ 10+2 व्यावसायिक एएनएम पाठ्यक्रम 40% अंकों के साथ।
किसी मान्यता प्राप्त सीबीएसई बोर्ड/केंद्र से अंग्रेजी के साथ 10 + 2 वोकेशनल स्ट्रीम-हेल्थ केयर साइंस में 40% अंकों के साथ ।
पास अंकों के साथ पंजीकृत एएनएम।
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GNM नर्सिंग प्रवेश कक्षा 12 बोर्ड परीक्षा में मिले अंकों के आधार पर दिया जाएगा। भारत में GNM सीधे और विश्वविद्यालय/संस्थान स्तर की प्रवेश परीक्षा दोनों के माध्यम से दिए जाते हैं। सरकार या प्रमुख संस्थान राज्य के अधिकारियों या संस्थान के अधिकारियों द्वारा आयोजित प्रवेश परीक्षा के माध्यम से जीएनएम नर्सिंग प्रवेश प्रदान करते हैं।
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जीएनएम कोर्स में प्रवेश के लिए आयोजित कुछ प्रवेश परीक्षाओं की नीचे जानकारी दी गई है:
जीएनएम पाठ्यक्रम - प्रथम वर्ष (GNM Syllabus - First-year)
विषय | सैद्धांतिक भाग (घंटे) |
जैव विज्ञान
| 120 90 30 |
व्यवहार संबंधी विज्ञान
| 60 40 20 |
नर्सिंग फाउंडेशन
| 210 190 20 |
सामुदायिक स्वास्थ्य नर्सिंग | 180 |
सीएचएन-I | 80 |
पर्यावरण स्वच्छता | 30 |
स्वास्थ्य शिक्षा और संवाद कौशल | 40 |
पोषण | 30 |
विषय | सैद्धांतिक भाग (घंटे) |
मेडिकल-सर्जिकल नर्सिंग-I (Medical-Surgical Nursing-I) | 120 |
मेडिकल-सर्जिकल नर्सिंग- II (Medical-Surgical Nursing –II) | 120 |
मानसिक स्वास्थ्य नर्सिंग | 70 |
बाल स्वास्थ्य नर्सिंग | 70 |
सह-पाठ्येतर गतिविधियाँ | 20 |
विषय | सैद्धांतिक भाग (घंटे) |
मिडवाइफरी और गायनोकोलॉजिकल नर्सिंग | 140 |
सामुदायिक स्वास्थ्य नर्सिंग- II | 90 |
सह-पाठ्येतर गतिविधियाँ | 10 |
सैद्धांतिक विषय | सैद्धांतिक भाग (घंटे) |
नर्सिंग शिक्षा | 20 |
अनुसंधान और सांख्यिकी का परिचय | 30 |
व्यावसायिक रुझान और समायोजन | 30 |
नर्सिंग प्रशासन और वार्ड प्रबंधन | 40 |
राज्य संचालन प्राधिकरण अपने डिप्लोमा जीएनएम नर्सिंग पाठ्यक्रम (GNM Nursing Course in hindi) में प्रवेश देने के लिए जीएनएम परिणाम जारी करता है। संस्थान या विश्वविद्यालय विशेष में प्रवेश के लिए उनकी जीएनएम प्रवेश परीक्षा का परिणाम अधिकारियों द्वारा जारी किया जाता है।
जीएनएम परिणाम (GNM result) को आधिकारिक वेबसाइट पर चेक किया जा सकता है। उम्मीदवार अपनी प्रवेश परीक्षा पूरी होने के बाद अपना जीएनएम नर्सिंग परिणाम डाउनलोड या देख सकते हैं।
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क्लिनिकल नर्स स्पेशलिस्ट के तौर पर सेवा देने वाले एक उम्मीदवार का औसत वार्षिक वेतनमान लगभग 4 लाख प्रति वर्ष होता है।
जीएनएम फुल फॉर्म - औसत वेतन (GNM Full Form - Average Salary)
क्रम | जॉब प्रोफाइल | वार्षिक आय (रुपये में) |
1 | 4.5 लाख रुपये वार्षिक (लगभग) | |
2 | होम नर्स | 4 लाख रुपये वार्षिक (लगभग) |
3 | हेल्थ विजिटर | 3.5 लाख रुपये वार्षिक (लगभग) |
4 | कम्युनिटी हेल्थ वर्कर | 3 लाख रुपये वार्षिक (लगभग) |
जीएनएम का फुल फॉर्म (gnm ka full form in hindi) क्या है?
जीएनएम का फुल फॉर्म (gnm ka full form in hindi) जनरल नर्सिंग एंड मिडवाइफरी है।
जीएनएम पाठ्यक्रम विवरण (gnm course details in hindi) दीजिये?
जीएनएम पाठ्यक्रम विवरण (g n m course details in hindi) ऊपर लेख में प्रदान किया गया है। उम्मीदवार ऊपर विस्तृत रूप से पाठ्यक्रम की जांच कर सकते हैं।
जीएनएम कोर्स कितने साल का होता है (gnm course kitne saal ka hota hai)?
जीएनएम कोर्स की अवधि 3 साल है जबकि उम्मीदवार को 6 महीने की इंटरशिप अनिवार्य रूप से करनी होती है।
जीएनएम करने के लिए योग्यता (gnm karne ke liye qualification) क्या चाहिए?
उम्मीदवार अपनी 12वीं की पढ़ाई उत्तीर्ण करने के बाद जीएनएम कोर्स का विकल्प चुन सकते हैं। जीएनएम कोर्स 3 साल की अवधि का है, 6 महीने की इंटर्नशिप करनी भी अनिवार्य है।
जीएनएम का फुल फॉर्म (जीएनएम का पूरा नाम) जनरल नर्सिंग एंड मिडवाइफरी (General Nursing and Midwifery) है।
जीएनएम फुल फॉर्म कोर्स गर्भवती महिलाओं और बीमारों की देखभाल करने के लिए जरूरी कौशल सीखने और विशेषज्ञता हासिल करने में मदद करता है।
हां, कई अच्छे निजी कॉलेज हैं जो जीएनएम नर्सिंग पाठ्यक्रम प्रदान करते हैं।
जीएनएएम 3 साल 6 महीने का डिप्लोमा लेवल कोर्स (General Nursing and Midwifery) है जिसमें 6 महीने के लिए अनिवार्य इंटर्नशिप है। जीएनएम कोर्स का फुल फॉर्म ऊपर लेख में बताया गया है, यह कोर्स सामान्य नर्सिंग और मिडवाइफ के लिए जरूरी कौशल से लैस करता है।
Counselling Date:20 September,2024 - 17 November,2024
Exam Date:08 December,2024 - 08 December,2024
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A career in pathology in India is filled with several responsibilities as it is a medical branch and affects human lives. The demand for pathologists has been increasing over the past few years as people are getting more aware of different diseases. Not only that, but an increase in population and lifestyle changes have also contributed to the increase in a pathologist’s demand. The pathology careers provide an extremely huge number of opportunities and if you want to be a part of the medical field you can consider being a pathologist. If you want to know more about a career in pathology in India then continue reading this article.
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Veterinary professionals prevent illness by providing vaccines and offering advice on animal nutrition and overall health. Their knowledge extends beyond household animals and includes livestock, wildlife, and exotic animals. Individuals who love animals and want to treat their illnesses, injuries, and diseases must opt for a career as a veterinary doctor.
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Gynaecology can be defined as the study of the female body. The job outlook for gynaecology is excellent since there is evergreen demand for one because of their responsibility of dealing with not only women’s health but also fertility and pregnancy issues. Although most women prefer to have a women obstetrician gynaecologist as their doctor, men also explore a career as a gynaecologist and there are ample amounts of male doctors in the field who are gynaecologists and aid women during delivery and childbirth.
The audiologist career involves audiology professionals who are responsible to treat hearing loss and proactively preventing the relevant damage. Individuals who opt for a career as an audiologist use various testing strategies with the aim to determine if someone has a normal sensitivity to sounds or not. After the identification of hearing loss, a hearing doctor is required to determine which sections of the hearing are affected, to what extent they are affected, and where the wound causing the hearing loss is found. As soon as the hearing loss is identified, the patients are provided with recommendations for interventions and rehabilitation such as hearing aids, cochlear implants, and appropriate medical referrals. While audiology is a branch of science that studies and researches hearing, balance, and related disorders.
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If we talk about a career as a research associate, it all comes down to one thing - curiosity towards nature and the passion to find answers. A career as a research associate is full of thrill and excitement. However, a research associate also faces a lot of challenges and failures while working on a project. A job of a research associate includes a spectrum of Science as a subject in detail.
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